रावे कार्यक्रम के तहत मोहतरई में हुई किसान गोष्ठी सह कृषि सूचना केंद्र की स्थापना
बिलासपुर। कृषि की नई-नई तकनीक से ग्रामवासियों को वैज्ञानिक अवगत कराया गय। इस प्रकार का आयोजन पूरे वर्ष भर होना चाहिए। इसका लाभ लेकर किसान अपनी आय बढ़ाकर आत्मनिर्भर बन सकते हैं। यह बात मुख्य अतिथि सरपंच कमलाबाई सूर्यवंशी ने कही।
बैरिस्टर ठाकुर छेदीलाल कृषि महाविद्यालय एवं अनुसंधान केंद्र, बिलासपुर तथा कृषि महाविद्यालय एवं अनुसंधान केंद्र, लोरमी-मुंगेली के चतुर्थ वर्ष के छात्रों द्वारा रावे कार्यक्रम के अंतर्गत सामुदायिक भवन, नवगवां, माध्यमिक शाला मोहतरई में किसान गोष्ठी सह कृषि सूचना केंद्र की स्थापना की गई।

कार्यक्रम की मुख्य अतिथि सरपंच कमला बाई सूर्यवंशी रही। विशिष्ट अतिथि के रूप में उप सरपंच कमल किशोर कुर्रे व सचिव कमल किशोर कौशिक व पंच उपस्थित रहे। कार्यक्रम की अध्यक्षता अधिष्ठाता डॉ. आर.के.एस तिवारी कृषि महाविद्यालय बिलासपुर ने की। कार्यक्रम का शुभारंभ व कृषि सूचना केंद्र का उद्घाटन फीता काटकर किया।
किसान गोष्ठी के तकनीकी सत्र में डॉ. पी.के केशरी ने मृदा स्वास्थ्य कार्ड, डॉ. आर.के.एस. तोमर ने भूरा माहू नियंत्रण, डॉ. विनोद निर्मलकर ने रोग प्रबंधन व डॉ. आर.के.एस. शुक्ला ने फसल बुवाई की विभिन्न पद्धतियों, पौध दूरी के बारे में जानकारी दी। कार्यक्रम में डॉ. डी.के. श्रीवास्तव वं डॉ.यशपाल निराला भी उपस्थित रहे।

अधिष्ठाता डॉ.आर.के.एस. तिवारी ने कहा कार्यक्रम का मुख्य उद्देश्य कृषक भाइयों को कृषि से संबंधित जानकारी, जैविक कीटनाशक, जैविक खाद व खेती के नए तकनीक से अवगत कराना और खेती से जुड़ी समस्याओं का निराकरण करना है। जिससे किसान विभिन्न फसलों की खेती कुशलता से कर सके। डॉ. आर.के.एस. तोमर द्वारा आभार व्यक्त किया गया। कार्यक्रम में ग्रामवासी, शिक्षक व छात्र-छात्राएं बड़ी संख्या में उपस्थित थे।